पर्यटन में निहित क्षमता

Afeias
08 Feb 2021
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Date:08-02-21

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भारतीय उद्योगों में पर्यटन और आतिथ्य का खासा महत्व रहा है। कोविड के चलते अन्य उद्योगों की तरह इस पर भी बहुत नकारात्मक प्रभाव पड़ा है। यू एन वर्ल्ड टूरिज्म ऑर्गेनाइजेशन के अनुसार 1950 के बाद से पर्यटन के क्षेत्र में आने वाला यह सबसे बड़ा संकट है। आइए, जानते है पर्यटन की कुछ विशेष बातें –

  • भारतीय अर्थव्यवस्था में पर्यटन का 10% का योगदान है। इस प्रकार विश्व में यह हमारे प्रमुख राजदूत की भूमिका निभाता रहा है।
  • 140 देशों में से सांस्कृतिक संसाधनों और व्यवसायिक यात्रा में भारत का 8वां, कीमत प्रतिस्पर्धा में 13वां और प्राकृतिक संसाधन में 14वां स्थान है। यह 2019 की वर्ल्ड इकॉनॉमिक फोरम ट्रैवल एण्ड टूरिज्म काम्पटिटिवनेस रिपोर्ट बताती है। पर्यटन प्रतिस्पर्धा में भारत को मिला 34वां स्थान बताता है कि हमने अपनी विरासत को पर्यटन की दृष्टि से अच्छी तरह से नहीं भुनाया है।
  • हमारे भूत में ही भविष्य निहित होता है। हमने योग, आयुर्वेद, वेद में वर्णित संतुलन और स्वस्थ जीवन के रहस्य, स्वास्थवर्धक भोजन की हमारी प्राचीन परंपरा और हमारे व्यंजनों की उत्पत्ति वगैरह सबको मिलाकर विश्व के वैलनेस केंद्र के रूप में स्वयं को स्थापित करने की अपनी क्षमता का संपूर्ण उपयोग नहीं किया है।
  • पर्यटन क्षेत्र, देश में लगभग 3.5 से 4 करोड़ फुल टाइम और कुल मिलाकर 8.75 करोड़ रोजगार के अवसर प्रदान करता है। 2019 के आंकड़ों के अनुसार यह कुल रोजगार के अवसरों में 12.75% ठहरता है।

पर्यटन को गति देने हेतु किए जाने वाले उपाय –

  • राष्ट्रीय पर्यटन परिषद् का गठन। यह एक विधायी निकाय हो, जिसमें केंद्र व राज्य स्तरीय पर्यटन संबंधी मामलों का जल्द निपटारा हो सके। यह “एक राष्ट्र, एक पर्यटन” वाले सिद्धांत पर काम करे।
  • वैश्विक स्तर के उच्च-स्तरीय होटल आवास पर काम किया जाना चाहिए।
  • होटलों को बुनियादी ढांचा क्षेत्र में शामिल किया जाए, ताकि इन पर लंबी अवधि के लिए वाजिब ब्याज दर पर ऋण लिया जा सके। ऐसा होने पर निजी निवेश को आकर्षित किया जा सकेगा।
  • पर्यटन परिवहन अनुभव को बाधारहित बनाने की दिशा में अंतर्राज्जीय सड़क करों का भुगतान एक केंद्र पर सुगम बनाया जाए।
  • घरेलू पर्यटन पर आयकर में छूट का प्रावधान हो। जीएसटी रजिस्टर्ड टूर संचालकों, टैवल एजेंटों, होटल और परिवाहकों के साथ पर्यटन पर देशी पर्यटकों को आयकर में छूट दी जाए। कार्पोरेट के देशी पर्यटन स्थानों पर आयोजन के लिए आयकर में भारी छूट का प्रावधान किया जाए।

भारतीय पर्यटन से जुड़े विभिन्न क्षेत्रों को ‘इन्क्रेडेबल इंडिया’ जैसे मुख्य ब्रांड के अंतर्गत एक ऐसा अच्छा बजट आवंटित किया जाना चाहिए, जो इस क्षेत्र में हमारी अंतर्निहित क्षमता को उभार सके।

‘द टाइम्स ऑफ इंडिया’ में प्रकाशित एक साक्षात्कार पर आधारित। 20 जनवरी, 2021